चखाो अमुबि, जिसे ब्लैक राइस पुडिंग भी कहा जाता है, एक पारंपरिक और स्वादिष्ट मिठाई है जो भारत के उत्तर-पूर्वी राज्यों में विशेष रूप से मणिपुर में लोकप्रिय है। यह डिश खासतौर पर अपने अद्भुत काले चावल (ब्लैक राइस) से बनाई जाती है, जो न केवल स्वाद में लाजवाब होती है बल्कि सेहत के लिए भी बेहद फायदेमंद है।
काले चावल का महत्व:
ब्लैक राइस, जिसे “चाहा राइस” भी कहा जाता है, भारतीय उपमहाद्वीप के कुछ हिस्सों में उगाया जाता है और यह प्राचीन समय से ही जाना जाता है। काले चावल में एंथोसायनिन नामक एंटीऑक्सीडेंट होता है, जो इसे रंग में काला बनाता है और इसके स्वास्थ्य लाभों को बढ़ाता है। यह चावल प्रोटीन, फाइबर, आयरन और अन्य पोषक तत्वों से भरपूर होता है। काले चावल को ग्लाइसेमिक इंडेक्स में कम होने के कारण मधुमेह रोगियों के लिए भी लाभकारी माना जाता है।
चखाो अमुबि बनाने की विधि:
चखाो अमुबि बनाने के लिए निम्नलिखित सामग्री की आवश्यकता होती है:
- 1 कप काले चावल
- 2-3 कप नारियल का दूध
- 1/2 कप चीनी (स्वाद अनुसार)
- 1/4 चम्मच इलायची पाउडर
- एक चुटकी नमक
- सूखे मेवे (काजू, बादाम) सजावट के लिए
बनाने की प्रक्रिया:
- सबसे पहले, काले चावलों को अच्छे से धोकर, लगभग 4-5 घंटे के लिए पानी में भिगोकर रखें।
- अब एक पैन में पानी उबालें और उसमें भिगोए हुए काले चावलों को डालकर उबालें। चावल को पूरी तरह से पकने तक उबालें, जिससे वह नरम हो जाएं।
- जब चावल पक जाएं, तो उसमें नारियल का दूध डालें और अच्छे से मिला लें।
- अब इस मिश्रण में चीनी, इलायची पाउडर और एक चुटकी नमक डालें और हल्की आंच पर पकने दें। मिश्रण को बीच-बीच में चलाते रहें ताकि यह जले नहीं।
- जब मिश्रण गाढ़ा हो जाए और पुडिंग जैसी कंसिस्टेंसी बन जाए, तो उसे गैस से उतार लें।
- अंत में, इसे सूखे मेवों से सजाएं और ठंडा होने दें। चखाो अमुबि तैयार है!
चखाो अमुबि के फायदे:
- काले चावल में आयरन और फाइबर की उच्च मात्रा होती है, जो शरीर को ऊर्जा प्रदान करती है और पाचन प्रक्रिया को बेहतर बनाती है।
- नारियल का दूध इसे क्रीमी और स्वादिष्ट बनाता है, साथ ही यह शरीर में आवश्यक वसा और पोषक तत्व प्रदान करता है।
- यह डिश डायबिटीज और दिल से जुड़ी बीमारियों के लिए फायदेमंद मानी जाती है, क्योंकि इसमें चीनी की मात्रा नियंत्रित होती है और यह ग्लाइसेमिक इंडेक्स में कम होता है।
निष्कर्ष:
चखाो अमुबि, एक पारंपरिक और स्वादिष्ट मिठाई है जो खासतौर पर मणिपुर और अन्य उत्तर-पूर्वी भारतीय राज्यों में बनाई जाती है। यह न केवल स्वाद में लाजवाब होती है बल्कि स्वास्थ्य के लिए भी बहुत फायदेमंद है। काले चावलों के पोषक गुणों के कारण यह एक बेहतरीन मिठाई विकल्प बन सकती है, जिसे खास मौकों और उत्सवों में आनंद लिया जा सकता है।